पीएफ घोटाला : आठ कर्मचारियों को नोटिस देगी ईओडब्ल्यू

उत्तर प्रदेश पावर कॉरपोरेशन (यूपीपीसीएल) के पीएफ घोटाले में जांच धीरे-धीरे ही सही दिशा में बढ़ती जा रही है। तीन दिन पहले ब्रोकर फर्म एसएमसी के चार्टर्ड एकाउन्टेंट ललित गोयल की गिरफ्तारी के बाद कई राज खुले। इसके बाद दो दर्जन कर्मचारियों का ब्योरा खंगाला गया। फिर इसमें से आठ कर्मचारियों को पूछताछ के लिये बुलाने का नोटिस देने पर सहमति बनी है। इन सभी को नोटिस भेजी जा रही है।
ब्रोकर फर्मों के कर्मचारियों की साठगांठ खुलने और एक के बाद एक उनकी गिरफ्तारी होने से यूपीपीसीएल में हड़कम्प मचा हुआ है। ईओडब्ल्यू के एक अधिकारी इसे स्वीकार करते हुए कहते हैं कि ब्रोकर फर्मों ने फर्जी दस्तावेजों से निवेश किया था। इन दस्तावेजों पर यूपीपीसीएल के कई कर्मचारियों ने सब कुछ जानते हुए भी कोई आपत्ति नहीं लगायी थी। इस वजह से इनके खिलाफ भी कार्रवाई की जा रही है। गिरफ्तार कर्मचारियों के बयान में कई खुलासे होने से ही यूपीपीसीएल में हड़कम्प मचा हुआ है।
आठ कर्मचारियों की मेजों से गुजरी फाइलें
अब जिन आठ कर्मचारियों को नोटिस भेजने की कवायद शुरू हुई है, उनके सामने से वह सभी फाइलें गुजरी थी जिनमें निवेश के लिये फर्जी दस्तावेज लगे थे। इन कर्मचारियों ने सब कुछ जानते हुए भी उस पर कोई आपत्ति नहीं लगायी। हालांकि, इनमें एक कर्मचारी ईओडब्ल्यू को पहले भी बयान दे चुका है। तब उसने कहा था कि जो कुछ अफसर कहते थे, वह लोग उसे करने के लिये बाध्य रहते थे।
अब जिन आठ कर्मचारियों को नोटिस भेजने की कवायद शुरू हुई है, उनके सामने से वह सभी फाइलें गुजरी थी जिनमें निवेश के लिये फर्जी दस्तावेज लगे थे। इन कर्मचारियों ने सब कुछ जानते हुए भी उस पर कोई आपत्ति नहीं लगायी। हालांकि, इनमें एक कर्मचारी ईओडब्ल्यू को पहले भी बयान दे चुका है। तब उसने कहा था कि जो कुछ अफसर कहते थे, वह लोग उसे करने के लिये बाध्य रहते थे।
17 गिरफ्तारी हो चुकी है अब तक
इस घोटाले में यूपीपीसीएल के निदेशक (वित्त) सुधांशु द्विवेदी, सचिव प्रवीण कुमार गुप्ता, पूर्व एमडी एपी मिश्र, डीएचएफएल के क्षेत्रीय प्रबन्धक अमित प्रकाश, एसएमसी के अधिकारी, सीए समेत 17 लोग पकड़े जा चुके हैं। इस घोटाले के सम्बन्ध में हजरतगंज कोतवाली में एफआईआर दर्ज हुई थी। दावा किया जा रहा है कि इस घोटाले में सीधे तौर पर यूपीपीसीएल और ब्रोकर फर्मों के 37 लोग शामिल थे। इनमें 17 लोग जेल में है। इनमें से कई आरोपियों की सम्पत्ति की जांच ईडी भी कर रही है।
इस घोटाले में यूपीपीसीएल के निदेशक (वित्त) सुधांशु द्विवेदी, सचिव प्रवीण कुमार गुप्ता, पूर्व एमडी एपी मिश्र, डीएचएफएल के क्षेत्रीय प्रबन्धक अमित प्रकाश, एसएमसी के अधिकारी, सीए समेत 17 लोग पकड़े जा चुके हैं। इस घोटाले के सम्बन्ध में हजरतगंज कोतवाली में एफआईआर दर्ज हुई थी। दावा किया जा रहा है कि इस घोटाले में सीधे तौर पर यूपीपीसीएल और ब्रोकर फर्मों के 37 लोग शामिल थे। इनमें 17 लोग जेल में है। इनमें से कई आरोपियों की सम्पत्ति की जांच ईडी भी कर रही है।
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